मध्यप्रदेश में दिखी पशु प्रेम की अनूठी मिसाल, गाय के निधन पर मोहल्ले वालों ने ढोल के साथ निकाली अंतिम यात्रा

Shajapur Cow Funeral : ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों ने पशुओं को लेकर काफी ज्यादा प्रेम देखने को मिलता है क्योंकि पशु पालना सभी पसंद करते हैं यही उन्हें शुद्ध दूध और गोबर प्रदान करता है जो कि खाद के रूप में भी काम आता है इतना ही नहीं आज गाय को माता के रूप में पूजा जाता है हिंदू सभ्यता में काहे सबसे बड़ी देवी मानी जाती है। ऐसे में उसकी हर त्यौहार पर पूजा भी की जाती है। इतना ही नहीं बहुत सारे लोग तो ऐसे भी होते हैं जो अपने घर में बनने वाले खाने की शुरुआत गाय के नाम से ही करते हैं, और उसे रोज शाम को रोटी भी दी जाती है।

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Shajapur Cow Funeral

इतना ही नहीं शहरों में गली मोहल्लों में भी फालतू गघूमने वाली गायों को घर का बचा हुआ खाना खिलाया जाता है। इतना ही नहीं पशुओं को पालने वाले लोगों में अपने पशुओं को लेकर काफी ज्यादा प्रेम देखने को मिलता है। ऐसे में हाल ही में मध्यप्रदेश के शाजापुर में पशु प्रेम को लेकर एक अनोखी मिसाल देखने को मिली जहां पर मोहल्ले में पिछले काफी समय से घूमती नजर आने वाली रानू नाम की गाय के निधन के बाद पूरा मोहल्ला गमगीन हो गया और अंतिम विदाई देते समय सबकी आंखें नम हो गई।

अंतिम विदाई में आंसुओं का सैलाब

बता दें कि शाजापुर के लक्ष्मी नगर इलाके में पिछले कई वर्षों से लोगों के बीच आकर्षण का केंद्र और सबकी दुलारी बनती नजर आने वाली रानू गाय ने इस दुनिया को अलविदा कह दिया। इसके बाद पूरा मोहल्ला शोक में डूब गया। बताया जाता है कि गाय की देखभाल भंवरलाल नामक गिनती करते थे। लेकिन रानू से सभी को काफी ज्यादा लगाव था। पूरे मोहल्ले में घूमने वाली रानू को सभी खाना खिलाया करते थे। उसकी पूजा भी किया करते थे। लेकिन अब उसके इस तरह चले जाने के बाद पूरे मोहल्ले में सभी की आंखें नम हो गई है।

Shajapur Cow Funeral 1

गौरतलब है कि रानू की अंतिम यात्रा में पूरा मूल्य शामिल हुआ और ढोल नगाड़ों के साथ में रानू की अंतिम विदाई की गई इतना ही नहीं मोहल्ले की महिलाओं ने 100 से ज्यादा साड़ियां जवानों की अंतिम विदाई पर उसे उड़ाई यहां नजारा देखकर आपकी भी आंखें नम हो सकती है। पशुओं के प्रति प्रेम की यह अनोखी दास्तां लोगों को काफी ज्यादा पसंद आ रही है। बता दें कि पशुओं के प्रति प्रेम तो देखने को मिलता है। लेकिन ऐसा अटूट प्रेम बहुत पहली बार देखने को मिल रहा है।

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Shajapur Cow Funeral 2

रानू ने अपने जीवन में 12 बच्चों को जन्म दिया सभी को पाला जा रहा है। इतना ही नहीं रानू सभी की चहेती गाय में से एक थी। जिसे हरी सब्जी से लेकर रोटी तक सब कुछ दिया जाता था। इतना ही नहीं घर में पूजा पाठ के समय बनने वाले भोजन को भी रानू को ही दिया जाता था। रानू बड़े बुजुर्ग से लगाकर बच्चों तक सबकी चाहती थी। लेकिन रानू के अचानक चले जाने के बाद आप शाजापुर का यह मोहल्ला काफी सुनसान नजर आ रहा है। मोहल्ले वाले रानू को अपने घर के सदस्य की तरह मानते थे।