शिवराज सरकार के दावों की खुली पोल, सरकारी स्कूल में छाता लेकर पढ़ने को मजबूर छात्र, देखें किस तरह हो रहा जान से खिलवाड़
देशभर में इस समय झमाझम बारिश हो रही है। कई राज्यों में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। शहर हो या गांव हर तरफ से बारिश में तबाही की तस्वीरें सामने आ रही है। इसी बीच मध्य प्रदेश के सिवनी जिले के एक सरकारी स्कूल की उस समय पोल खुल गई जब टपकती छत के नीचे छाता लेकर बच्चे पढ़ाई करते नजर आए। वहीं उत्तर प्रदेश के सरकारी स्कूलों में भी इसी तरह की तस्वीर सामने आ रही है। बारिश के मौसम में जहां एक और तबाही का आलम है इसके बावजूद भी सरकारी सिस्टम की पोल खोलती हुई नजर आ रही है।
टपकती छत के नीचे छाता लेकर पढ़ाई करते बच्चे
दरअसल मध्यप्रदेश की शिवराज सरकार शिक्षा क्षेत्र में करोड़ों रुपए खर्च कर रही है, लेकिन इसके बावजूद भी सरकारी स्कूल की हालत जस की तस बनी हुई है। सिवनी जिले के आदिवासी ब्लॉक घंसौर के ग्राम खैरीकला मिडिल स्कूल से एक तस्वीर सामने आई है, जहां पर बच्चों में पढ़ाई को लेकर इतना जरूर नजर आया कि सिस्टम पर उठ रहे सवालों के बीच छाता लेकर टपकती छत के नीचे पढ़ाई करते नजर आए है। मध्य प्रदेश के सरकारी स्कूलों को प्राइवेट स्कूलों की तर्ज पर बनाने का दावा शिवराज सरकार कर रही है, लेकिन इस तरह की सरकारी स्कूल की तस्वीर दावा खोखला बता रही है।
बच्चों की जिंदगी से हो रहा है खिलवाड़
सिवनी के खैरी कला गांव के सरकारी स्कूल की छत से बारिश का पानी लगातार टपकता है। कमरों में पानी भर जाता है, लेकिन इसके बावजूद भी बच्चों में पढ़ाई का जुनून कम होने का नाम नहीं ले रहा है ।सिवनी जिले के खेड़ी कला गांव में छत से टपक रहे पानी से बचने के लिए बच्चे स्कूल के अंदर छाता लगाकर पढ़ाई करने को मजबूर है। यह हाल एक क्लास रूम का नहीं है बल्कि पूरे स्कूल का है। छत का हाल इतना बुरा है कि कब गिर जाए कुछ पता नहीं है।
बच्चे अपनी जान हथेली पर रखकर पढ़ाई करने को मजबूर है। एक छात्र को चोट भी लगी थी, लेकिन इससे सबक सीखा नहीं गया। शिकायत कई बार की गई लेकिन सुनवाई नहीं हुई है। स्कूल प्रशासन को छात की मरम्मत के लिए सहायता राशि का इंतजार है, लेकिन कहीं इंतजार बच्चों की जिंदगी पर भारी न पड़ जाए।
शिवराज सरकार के दावों की खोल पोल
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान एक तरफ कह रहे हैं सीएम राइज स्कूल खोल दिए गए हैं। यह सरकारी स्कूल प्राइवेट स्कूलों की तर्ज पर खोले जा रहे हैं और इसमें उन्हें प्राइवेट स्कूल की तरह सुविधा दी जाएगी, लेकिन अगर हम सरकारी स्कूल की बात करें तो आप देख सकते हैं हालत कैसे बने हुए हैं। ऐसा ही एक मामला उत्तर प्रदेश से भी आया है, जहां मथुरा के दक्षता गांव के प्राथमिक विद्यालय में छोटी सी बारिश के बाद पूरे स्कूल में पानी भर गया। टीचर सभी के लिए पानी के बीच में क्लास रूम में पहुंचना मुश्किल साबित हो रहा था ।यह एक जगह का आलम नहीं है बल्कि मध्य प्रदेश के कई सरकारी स्कूलों की हालत जस की तस बने हुए हैं।